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This book presents a short life of Sri Krishna compiled from authentic sources.

भागवतकार लिखते है कि अन्य अवतार तो ईश्वर की कला अथवा अंश मात्र से हुए है, परन्तु कृष्ण स्वयं भगवान् है, क्योंकि हम चाहे जिधर से भी क्यों न देखें उनका चरित्र सर्वांगपूर्ण प्रतीत होता है। इस व्यस्तता के युग में जिन्हें ग्रन्थों का अध्ययन करने का अवकाश नहीं है, मुख्यतः उन्हीं के लिए हम ‘पूर्णावतार’ की यह संक्षिप्त जीवनी प्रकाशित कर रहे है इसके पहले काफी समय से हम श्रीरामकृष्ण, श्रीमाँ सारदा देवी और स्वामी विवेकानन्द की संक्षिप्त जीवनियाँ प्रकाशित करते रहे हैं और हमारा यह अभिनव प्रकाशन उसी श्रृंखला की एक और कड़ी है।

इसके प्रस्तुतीकरण में मुख्यतः महाभारत, विष्णु पुराण, श्रीमद्भागवत तथा स्वामी रामकृष्णानन्दजी द्वारा अंग्रेजी में लिखित ‘Sri Krishna: Pastoral and King-maker’ सहायता ली गयी है। श्रीकृष्ण की वृन्दावन-लीला के बारे में जनमानस में कई तरह की भ्रमपूर्ण धारणाएँ फैली हुई है, अतः इस विषय पर स्वामी विवेकानन्द के विचारों का एक संकलन इस पुस्तिका में परिशिष्ट के रूप में जोड़ दिया गया है।

आज भी जब विष विविध प्रकार के परस्पर-विशेष विचारों के तुमुल संघर्ष से आक्रान्त है, समन्वयाचार्य श्रीकृष का जाज्वल्यमान जीवन काफी प्रासंगिक प्रतीत होता। यह संक्षिप्त जीवनी श्रीकृष्ण के अलौकिक चरित को समझने में आपकी सहायक सिद्ध हो इसी कामना के साथ हम व आपके हाथों में सौंप रहे है।

Sri Krishna ki Jivani

SKU: 0549
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    TAGS

    Biographies

    AUTHOR/BY

    Swami Videhatmananda

    NO. OF PAGES

    120

    LANGUAGE

    Hindi

    ISBN

    9788175050549

    BINDING

    Paperback

    PUBLISHER

    Advaita Ashrama

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